भारत ने शनिवार को अग्नि प्राइम मिसाइल (Agni Prime Missile) का सफल परीक्षण किया. ये टेस्ट ओडिशा में बालासोर के तट (Coast of Odisha in Balasore) पर किया गया. सरकारी अधिकारियों ने इसकी जानकारी दी. अग्नि-पी अग्नि श्रेणी की मिसाइलों का एडवांस वर्जन है. इसकी मारक क्षमता 1000 से 2000 किलोमीटर के बीच है.
एक अधिकारी ने कहा, “मिसाइल परीक्षण ने उच्च स्तर की सटीकता के साथ अपने सभी मिशन उद्देश्यों को पूरा किया.’ भारत में अग्नि मिसाइल के कुल छह वर्जन है. अग्नि प्राइम मिसाइल सबसे एडवांस वर्ज है.
क्या अलग है अग्नि-पी में ?
अग्नि-पी अग्नि पांच और छह का एडवांस वर्जन का. हालांकि ये अग्नि-3 की तरह दिखता है. लेकिन जानकारों के मुताबिक वर्जन 3 के मुकाबले इसका वज़न लगभग आधा है. ये एक हजार किलोमीटर से लेकर दो हज़ार तक की दूरी तक निशाना साध सकती है. अग्नि मिसाइल लंबी दूरी की परमाणु हथियार सक्षम, सतह से सतह पर मार करने वाली बैलिस्टिक मिसाइल हैं. सीरीज़ की पहली मिसाइल, अग्नि- I को एकीकृत निर्देशित मिसाइल विकास कार्यक्रम (IGMDP) के तहत विकसित किया गया था और 1989 में परीक्षण किया गया था.
सुपरसोनिक मिसाइल
बता दें कि भारत ने इसी हफ्ते ओडिशा तट से दूर अब्दुल कलाम द्वीप से ‘सुपरसोनिक मिसाइल असिस्टेड टॉरपीडो सिस्टम’ (एसएमएटी) का सफलतापूर्वक प्रक्षेपण किया. अब्दुल कलाम द्वीप को पहले व्हीलर द्वीप के नाम से जाना जाता था. डीआरडीओ ने बताया कि परीक्षण के दौरान मिसाइल की सभी क्षमताओं का सफलतापूर्वक प्रदर्शन देखने को मिला. इस प्रणाली को पनडुब्बी रोधी युद्धक क्षमताओं को बढ़ाने के लिए तैयार किया गया है, जो पारंपरिक टॉरपीडो की रेंज से कहीं अधिक है.