केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह (Rajnath Singh) की अध्यक्षता वाली संसदीय मामलों की कैबिनेट कमेटी (CCPA) ने शीतकालीन सत्र (Winter Session) की सिफारिश कर दी है. इस बार शीतकालीन सत्र 29 नवंबर से शुरू होकर 23 दिसंबर तक चलेगा. न्यूज़18 को सूत्रों के हवाले से जानकारी मिली है कि अक्टूबर के आखिरी सप्ताह में CCPA की बैठक हुई थी. इसी बैठक में शीतकालीन सत्र की सिफारिश की गई है. सूत्र का कहना है- ‘इस सत्र के दौरान कुल 19 दिन काम होगा. लोकसभा और राज्यसभा के सत्र साथ-साथ चलेंगे. कोविड प्रोटोकॉल को लेकर इस हफ्ते बैठक हो सकती है.’
दरअसल शीतकालीन सत्र को इस वजह से महत्वपूर्ण माना जा रहा है क्योंकि कुछ ही महीने के भीतर पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं. इन राज्यों में उत्तर प्रदेश भी शामिल है, जिसे साल 2024 का सेमीफाइनल भी कहा जा रहा है.
साथ हुआ था मानसून और शीतकालीन सत्र
बीते वर्ष कोरोना महामारी के कारण शीतकालीन सत्र नहीं हो सका था. फिर बाद में शीतकालीन सत्र को मानसून सत्र के साथ मिला दिया गया था. संसद का आखिरी सत्र 19 जुलाई से लेकर 11 अगस्त तक चला था. महामारी के कारण सत्र के दौरान बेहद सीमित लोगों को ही परिसर के अंदर जाने की छूट दी गई थी. सांसदों के सचिवों और पूर्व सांसदों को भी एंट्री नहीं दी गई थी.
मानसून सत्र में सख्त थे नियम
मानसून सत्र के दौरान भी सिर्फ उन्हीं लोगों को एंट्री दी गई थी जिन्होंने वैक्सीन के दोनों डोज लगवा लिए हों. साथ ही आरटीपीसीआर टेस्ट करवाना जरूरी था. अब माना जा रहा है शीतकालीन सत्र में भी ऐसे ही सख्त नियम रखे जाएंगे.
आगामी हफ्तों के दौरान संसद चलाने के लिए लोकसभा अध्यक्ष और राज्यसभा अध्यक्ष के बीच बैठकें हो सकती हैं. देश में इस वक्त कोरोना महामारी के मामले नियंत्रण में है. ऐसे में संसद सत्र सुचारू रूप से चलाने के लिए कोरोना नियमों में मानसून सत्र की तरह ही सख्ती बरती जाएगी.