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मात्र 10 रुपये में सरकार देती है ये 19 सुविधाएं, जान गए तो आपको होगा बड़ा फायदा

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श्रमिकों (Labours) को लेकर कई कानून व सुविधाएं होती तो हैं, लेकिन बहुत कम ही लोगों को इसके बारे में पता होता. आज एक ऐसे स्कीम ( Labour Welfare Schemes) के बारे में बता रहे हैं जो कि जो श्रमिकों के बड़े काम की है. इस स्कीम के तहत मात्र 10 रुपये मासिक कंट्रीब्युशन पर 19 ऐसी सुविधाएं मिलती हैं, जिनके लिए आम तौर पर मोटी रकम खर्च करनी होती है. इस स्कीम के तहत अगर किसी व्यक्ति को 3 बेटियां और दो बेटे 9वीं और 10वीं क्लास में पढ़ाई करते हैं तो उस श्रमिक को इसके लिए सालाना 31 हजार रुपये सरकार की तरफ से दिए जाएंगे. अगर किसी श्रमिक की शादी होती है तो उसे सरकार की तरफ से 51,000 रुपये दिए जाएंगे. यह तीन बेटियों के लिए ही मान्य होगा, जबकि श्रमिकों की पत्नी की डि​लीवरी के समय 10,000 रुपये मिलेंगे.

साथ ही, इस स्कीम के तहत उस संस्थान को प्रतिमाह 20,000 रुपये जमा करने होंगे जिसमें वह काम करता है. बता दें कि श्रमिकों की यह खास स्कीम हरियाणा की है, जहां विधानसभा चुनाव 2019 की वोटों की गिनती चल रही है. इस योजना के तहत श्रमिको की सर्विस एक साल होनी चाहिए और उनकी सैलरी प्रतिमाह 25,000 रुपये से अधिक नहीं होना चाहिए. आइए जानते हैं कि अगर आप हरियाणा में रहते हैं तो इस स्कीम का कैसे फायदा उठा सकते हैं.

(1.) अगर किसी श्रमिक के लड़के—लड़कियां पहली से 12वीं कक्षा तक पढ़ाई जारी रखते हैं तो इसके लिए उन्हें स्कूल ड्रेस, किताब-कापियां आदि खरीदने के ​लिए हर साल 3 से 4 हजार रुपये की मदद मिलेगी.

(2.) श्रमिकों के बच्चों के लिए छात्रवृत्ति योजना: 9वीं से 10वीं तक लड़कों के लिए 5000, लड़कियों के लिए 7000 रुपये प्रति वर्ष. 11वीं से 12वीं के लड़कों के लिए 5500, लड़कियों के लिए 7750 रुपये. यह सुविधा मेडिकल पढ़ाई तक भी पैसा बढ़ाकर दी जाएगी.

(3.) श्रमिकों के बच्चों को खेलकूद (Sports) के लिए: प्रतियोगिता के आधार पर 2000 से 31000 रुपये तक दिया जाएगा. (4.) श्रमिकों के बच्चों को कल्चरल प्रतियोगिताओं में स्थान प्राप्त करने पर 2000 से 31000 रुपये तक दिया जाएगा.

(5.) श्रमिक की किसी भी कारण से मृत्यु होने पर उसकी विधवा या आश्रित को 2,00,000 रुपये की सहायता राशि दी जाएगी.

(6.) श्रमिक की कार्य स्थल या बाहर किसी भी कारण से मृत्यु होने पर दाह संस्कार के लिए 15000 रुपये.

(7.) कार्यस्थल पर काम करते वक्त मौत होने पर आश्रित को 5 लाख रुपये की मदद दी जायेगी.

(8.) श्रमिकों को साईकिल खरीदने पर 3000 रुपये. (वेतन सीमा-18,000 रुपये)

(9.) श्रमिकों को चश्मे के लिए 1500 रुपये तक की मदद.

(10.) तीन लड़कियों की शादी के लिए 51-51 हजार रुपये की मदद.

(11.) महिला श्रमिकों तथा श्रमिकों की पत्नियों को डिलीवरी पर 10-10 हजार रुपये. दो बार के लिए दिये जाएंगे.

(12.) श्रमिकों की सेवा के दौरान दुर्घटना या अन्य कारण से दिव्यांग होने पर: 1.5 लाख रुपये तक की मदद.

(13.) श्रमिकों और उनके आश्रितों को डेंटल केयर व जबड़ा लगवाने के लिए 4 से 10 हजार रुपये तक की मदद.

(14.) श्रमिकों की किसी भी दुर्घटना में अपंग हुए श्रमिकों व उनके आश्रितों को कृत्रिम अंगों (Artificial Limbs) के लिए सहायता मिलती है.

(15.) बधिर श्रमिकों व उनके बधिर आश्रितों को श्रवण मशीन के लिए 5000 (पांच साल में एक बार)

(16.) श्रमिकों को नई सिलाई मशीन खरीदने के लिए 3500 रुपये (पांच साल में एक बार लेकिन सर्विस 2 साल होनी चाहिए)

(17.) दिव्यांग श्रमिकों तथा उनके आश्रितों को तिपहिया साईकिल के लिए 7000 रुपये.

(18.) पांच साल की सर्विस पर श्रमिकों को 1500 रुपये LTC (Leave Travel Concession) की सुविधा.

(19.) श्रमिकों के दिव्यांग बच्चों को 20,000 से 30,000 रुपये. इसके तहत सर्विस और वेतन की सीमा तय नहीं है.