विश्व प्रसिद्ध दशहरी एवं लखनउआ सफेदा पड़ोसी देश नेपाल के बागों की भी शोभा बढ़ाएंगे। नेपाल ने यूपी के उद्यान विभाग और यहां की निजी नर्सरियों से दस लाख दशहरी एवं सफेदा आम के पौधे की मांग की है।
बेहतर गुणवत्ता होने की वजह से नेपाल से प्रदेश की सरकारी एवं गैर सरकारी नर्सरियों को 10 लाख 35 हजार कलमी पौधों के आर्डर मिले हैं। लखनऊ, हरदोई और सीतापुर की नर्सरियों में तैयार इन आम के कलमी पौधों को शीघ्र नेपाल भेजा जाएगा। इसके लिए माल-मलिहाबाद के अलावा आयोध्या एवं सीतापुर की नर्सरियों में भी कलमी पौधे तैयार करने की प्रक्रिया अन्तिम चरण में है। लखनऊ की नर्सरियों से पहली खेप 26 अगस्त को जाएगी।
केन्द्रीय उपोष्ण बागवानी संस्थान के निदेशक डा. शैलेन्द्र राजन की मानें तो नेपाल व भूटान में पहले भी आम के पौधे भेजे जाते थे। इस बार यहां आम के पौधों की कमी हैं।
बकौल डा. राजन, इस समय मैंगो बेल्ट में कोलकाता से अलग-अलग वेरायटी के आम के पौधे आ रहे हैं। इनमें आम्रपाली व लंगड़ा के साथ-साथ दशहरी एवं चौसा की भी वेरायटी होती हैं। चूंकि स्थानीय स्तर पर दशहरी के कलमी पौधों की कमी है, ऐसे में दूसरी वेरायटी के पौधे भी दशहरी के नाम पर न बेच दिए जाएं, यह देखना होगा।
यहां भी जाते हैं पौधे
आन्ध्र प्रदेश, तेलंगाना, कर्नाटक, गोवा, उड़ीसा, उत्तराखंड, राजस्थान, हरियाणा, पंजाब, अरुणाचल प्रदेश, मणिपुर, त्रिपुरा तथा गुजरात।
पांच लाख पौधे तैयार
इस समय विभाग के पास पांच लाख से अधिक आम के कलमी पौधे हैं। हम और पौधे तैयार कर देंगे लेकिन उसके लिए समय चाहिए। – एस बी शर्मा, उद्यान निदेशक, उत्तर प्रदेश