भगवान शिव की प्रिय वस्तुओं में सबसे प्रमुख है रूद्राक्ष। पौराणिक मान्यताओं के अनुसार भगवान शिव की आंख से आंसू गिरने से रूद्राक्ष की उत्पत्ति हुई है। इसलिए रूद्राक्ष धारण करना अत्यंत शुभ माना जाता है। इसे धारण करने से भगवान शिव की विशेष कृपा प्राप्त होती है। रूद्राक्ष धारण करने से आध्यात्मिक, भौतिक, मानसिक और शारीरिक लाभ प्राप्त है। इससे न केवल अनेक रोगों में आराम पहुंचता है बल्कि यह अनेक प्रकार से सुख भी प्रदान करता है। रूद्राक्ष एक मुखी से लेकर 14 मुखी तक होते हैं। 21 मुखी और कुछ विशेष रूद्राक्ष भी होते हैं। रूद्राक्ष का वैदिक ज्योतिष में भी बहुत महत्व है। इसे ग्रहों की शांति के लिए धारण किया जाता है क्योंकि प्रत्येक ग्रह के साथ किसी न किसी मुख का रूद्राक्ष जुड़ा हुआ होता है। इसे चंद्र राशि के अनुसार धारण करेंगे तो आपको अधिक लाभ होगा।
आइए जानते हैं किस राशि के लोगों को कौन सा रूद्राक्ष धारण करने से अधिक लाभ प्राप्त होगा….सावन
रूद्राक्ष धारण पहनने के फायदे
- मेष : मेष राशि के स्वामी मंगल हैं। इस राशि के जातकों को तीन मुखी रूद्राक्ष धारण करने से जीवन के प्रत्येक क्षेत्र में सफलता मिलती है।
- वृषभ : वृषभ राशि के स्वामी शुक्र हैं। इस राशि के जातकों के लिए छह मुखी रूद्राक्ष शुभ होता है। इसे धारण करने से भौतिक सुखों की प्राप्ति होती है।
- मिथुन : मिथुन राशि के स्वामी बुध हैं। इस राशि के जातकों के लिए चार मुखी, पांच मुखी और तेरह मुखी रूद्राक्ष उत्तम होता है।
- कर्क : कर्क राशि के स्वामी चंद्र हैं। इन्हें मानसिक शांति और समस्त सुखों की प्राप्ति के लिए दो मुखी रूद्राक्ष धारण करना चाहिए।
- सिंह : सिंह राशि के स्वामी सूर्य हैं। इस राशि के जातकों को 12 मुखी रूद्राक्ष धारण करना चाहिए। इससे इन्हें रोग मुक्ति तो होती ही है। आध्यात्मिक लाभ भी प्राप्त होते हैं।
- कन्या : कन्या राशि के स्वामी बुध हैं। इस राशि के जातकों के लिए चार मुखी रूद्राक्ष सबसे उत्तम माना गया है। ये गौरी शंकर रूद्राक्ष भी धारण कर सकते हैं। यह सौभाग्यदायक होता है और इन्हें आर्थिक लाभ भी प्राप्त होते हैं।
रूद्राक्ष धारण करने के लिए शुभ दिन देखना अत्यंत आवश्यक है
कैसे पहनें रूद्राक्ष
रूद्राक्ष धारण करने के लिए शुभ दिन देखना अत्यंत आवश्यक है। रूद्राक्ष को किसी भी माह के शुक्ल पक्ष में पहना जाता है, लेकिन श्रावण माह के दोनों पक्षों कृष्ण और शुक्ल में इसे पहना जा सकता है। सोमवार का दिन, त्रयोदशी तिथि भी रूद्राक्ष धारण करने के लिए शुभ होती हैं। धारण करने से पहले रूद्राक्ष को गंगाजल से शुद्ध करके पूजन करें और ऊं नम: शिवाय मंत्र की पांच माला जाप करें। फिर इसे धारण कर लें।
मीन राशि के स्वामी ब्रहस्पति हैं
स्वामी शुक्र
- तुला : तुला राशि के स्वामी शुक्र हैं। इस राशि के जातक छह मुखी या सात मुखी रूद्राक्ष धारण कर सकते हैं।
- वृश्चिक : वृश्चिक राशि के स्वामी मंगल हैं। इस राशि के जातक तीन मुखी या पांच मुखी रूद्राक्ष पहन सकते हैं। इससे इन्हें आर्थिक संपन्न्ता प्राप्त होगी।
- धनु : धनु राशि के स्वामी ब्रहस्पति हैं। इस राशि के जातक पांच मुखी रूद्राक्ष धारण करके जीवन के प्रत्येक क्षेत्र में शीर्ष तक पहुंच सकते हैं।
- मकर : मकर राशि के स्वामी शनि हैं। शनि की शांति और जीवन में सफलता अर्जित करने के लिए मकर राशि के जातकों को सात या चौदह मुखी रूद्राक्ष धारण करना चाहिए।
- कुंभ : कुंभ राशि के स्वामी शनि हैं। इस राशि के जातक भी सात या चौदह मुखी रूद्राक्ष धारण कर सकते हैं।
- मीन : मीन राशि के स्वामी ब्रहस्पति हैं। पांच मुखी रूद्राक्ष इस राशि वालों के लिए सर्व सुख दायक होता है।