नवापारा राजिम। दिगंबर जैन समाज का पवित्र पर्वाधिराज पर्यूषण पर्व का पांचवा दिन उत्तम सत्य धर्म है। सत्य बोलने वाला जग में हमेशा सुखी रहता है , झूठ बोलने वाले की पोल खुलने पर जग में वह हंसी का पात्र बनता है एवं कर्म बंद करके अपनी गति खराब करता है। राजा बसु एक झूठ के कारण नरक में पहुंच गया था। उक्त बातें कहते हुए पर्युषण पर्व के पांचवें दिन के प्रवचन में चर्या श्री माताजी ने बताया कि सत्य ही धर्म है ।सत्य का अर्थ है जैसा देखा जैसा सुना वैसा कहना ही सत्य है बात को इधर-उधर लगाकर दूसरी रूप बनाकर बोलना झूठ होता है ,झूठ बोलने वाला भी कभी सुखी नहीं रहता उसे अनेक कष्टों का सामना करना पड़ता है। झूठे वचनों का त्याग करना और आत्मा में सत्य आचरण लाना सत्य धर्म है जो वस्तु जैसी है उसे वैसा ही मानना सत्य है ।सत्य के विपरीत मिथ्यात्व ही संसार में भ्रमण का कारण है इसलिए हमें सत्य धर्म को स्वीकार करना चाहिए ।यही लक्षण हमें मोक्ष की ओर ले जाते हैं।
आज सत्य धर्म के दिन शांतिधारा करने का सौभाग्य हंसराज, रवि ,रमेश रावका परिवार एवं राजेश कुमार, रविंद्र कुमार, राहुल ,रितेश, ऋतिक सिंघई परिवार को प्राप्त हुआ। शांतिनाथ जिनालय में राकेश चौधरी, सत्यम, शुभम चौधरी एवं रूपचंद आकाश कुमार ,विकास कुमार परिवार को अवसर मिला ।पारसनाथ जिनालय में अनिल ,अंकित ,अनुज चौधरी और संजय पाटनी को सौभाग्य प्राप्त हुआ।
रात्रि में त्रिशला महिला मंडल की अनिता सिंघई एवं बबीता चौधरी के द्वारा प्रश्न मंच कार्यक्रम का आयोजन किया गया जिसमें 24 तीर्थंकरों के बारे में उपस्थित जनों से प्रश्न पूछे गए। सागर म. प्र. से पहुंचे योगेश भैया के द्वारा पर्युषण पर्व में समस्त कार्यक्रम सानंद व सफलता पूर्वक संपन्न कराए जा रहे हैं।