नई दिल्ली । DRDO Successfully Test New BMDS: पाकिस्तान-चीन के घाटक मिसाइल से देश की रक्षा करने के लिए डीआरडीओ ने नया बैलिस्टिक मिसाइल डिफेंस सिस्टम तैयार किया है। इसका 24 जुलाई 2024 को सफल परीक्षण किया गया। डिफेंस सिस्टम में इंटरसेप्टर मिसाइल का नाम है AD-1 (Missile AD-1) दिया गया है। ये ऐसी एंटी-बैलिस्टिक इंटरसेप्टर मिसाइल प्रणाली है,जो 5000 किमी दूर मार करने वाली बैलिस्टिक मिसाइल को भीजमीन से कई किलोमीटर ऊपर ही खत्म कर देगी।
दुनिया के सभी बड़े देशों के पास बैलिस्टिक मिसाइल हैं। इसने रासायनिक, जैविक, पारंपरिक या परमाणु हमला किया जा सकता है। भारत के पास भी ताकतवर बैलिस्टिक मिसाइलें हैं। पड़ोसी दुश्मन मुल्कों यानी चीन और पाकिस्तान के पास भी ये मिसाइलें हैं। हालांकि इनके मिसाइल हमले को बर्बाद करने के लिए भारत ने ब्रह्मास्त्र बना लिया है। उसके सफल परीक्षण भी कर लिए हैं।यानी एंटी-बैलिस्टिक मिसाइल (ABM) इंटरसेप्टर।
इस ब्रह्मास्त्र का नाम है- बैलिस्टिक मिसाइल डिफेंस सिस्टम । इसमें इस्तेमाल की गई इंटरसेप्टर मिसाइल का नाम है AD-1। यानी अब दुनिया की कोई भी बैलिस्टिक मिसाइल जिसकी रेंज 5000 किलोमीटर से ज्यादा है,उसे भारत की धरती पर गिरने से पहले ही वायुमंडल के ऊपर ही खत्म कर देगा।
ओडिशा के चांदीपुर रेंज में हुआ परीक्षण
ओडिशा के चांदीपुर स्थित इंटीग्रेटेड टेस्ट रेंज (ITR) में इसका दूसरा परीक्षण हुआ। पहले पृथ्वी-2 बैलिस्टिक मिसाइल को दुश्मन की टारगेट मिसाइल बनाकर दागा गया. इसके बाद AD-1 इंटरसेप्टर मिसाइल को इस मिसाइल के पीछे छोड़ा गया। टारगेट मिसाइल को लॉन्च कॉम्प्लेक्स-4 धमरा से छोड़ा गया था। वहीं इंटरसेप्टर मिसाइल को लॉन्च कॉम्प्लेक्स-3 आईटीआर से छोड़ा गया था।5 हजार किमी रेंज वाली बैलिस्टिक मिसाइलें हो जाएंगी नाकाम
इस परीक्षण के बाद भारत अब उन देशों में शामिल हो चुका है, जिनके पास 5 हजार किलोमीटर या उससे ज्यादा रेंज वाली बैलिस्टिक मिसाइलों को रोकने की ताकत है। वर्तमान समय अमेरिका, रूस और इजरायल के पास ही यह ताकत है।
एंटी-बैलिस्टिक मिसाइल प्रोग्राम क्या है?
डीआरडीओ ने देश के लिए स्वदेशी एंटी-बैलिस्टिक मिसाइल प्रोग्राम बनाया है। उसके लिए राडार बनाए. देसी मिसाइलों का जखीरा खड़ा किया। साल 2006 में भारत PADE यानी पृथ्वी एयर डिफेंस सिस्टम का सफल परीक्षण किया था। इसी में एंटी-बैलिस्टिक मिसाइल को पृथ्वी एयर डिफेंस यानी PAD कहा गया।
दिल्ली और मुंबई की सुरक्षा में तैनात हो सकती हैं ये मिसाइलें
8 जनवरी 2020 को भारतीय वायुसेना और डीआरडीओ ने भारत सरकार से दिल्ली और मुंबई को बैलिस्टिक मिसाइल के हमले से बचाने के लिए इंटरसेप्टर मिसाइलों को तैनात करने की अपील की थी। इन दोनों शहरों को सुरक्षा कवच देने के बाद अन्य प्रमुख शहरों और इलाकों को भी इन ब्रह्मास्त्रों से बचाने की योजना है.।