मोदी सरकार रेलवे (Indian Railways) की तस्वीर बदलने के लिए प्रयासरत है. मेक इन इंडिया (Make in India) अभियान के तहत अगले दो साल में 40 नई वंदेभारत एक्सप्रेस (Indian Railways) तैयार करने की योजना है. वंदे भारत को टी-18 (T-18) भी कहा जाता है. इससे पहले खबर आई थी कि सरकार ने वंदे भारत ट्रेन सेट के निर्माण पर रोक लगाई हुई है क्योंकि वंदे भारत ट्रेन सेट में दो खामिया पाई गई हैं.
इन कमियों को दूर किया जा रहा है. फिलहाल दिल्ली -वाराणसी के बीच चल रही वंदेभारत ट्रेन सेट में बिजली की खपत इंटरनेशनल मानकों के मुकाबले ज्यादा है. इस ट्रेन सेट में सामान्य ट्रेन से चार गुना ज्यादा बिजली की खपत हो रही है. इसी खामी के चलते रेल मंत्रालय ने वंदे भारत ट्रेन सेट के निर्माण पर रोक लगा दी थी. वंदे भारत प्रोजेक्ट और उत्पादन में इसलिए भी विलंब हुआ क्योंकि मंत्रालय नए स्पेसिफिकेशन वाले ट्रेन सेट की तैयारी कर रहा था जो अंतरराष्ट्रीय मानकों को पूरा कर सकें. अब ये स्पेसिफिकेशन तैयार हैं.
रेलवे बोर्ड के चेयरमैन वीके यादव का कहना है कि अक्टूबर मध्य तक नए स्पेसिफिकेशन से लेस वंदेभारत एक्सप्रेस सेट के लिए ग्लोबल टेंडर मंगाए जाएंगे. मंत्रालय का कहना है कि अगले दो साल में भारत 40 नए ट्रेन सेट का निर्माण करेगा. 2020-21 तक भारत में 15 ट्रेन सेट का निर्माण किया जाएगा जबकि 2021-22, तक 25 ट्रेन सेट का निर्माण किया जाएगा. कुल नए 40 सेट तैयार किए जाएंगे.
गौरतलब है कि इंट्रीगल कोच फैक्टरी चेन्नई (आईसीएफ) ने दो वंदे भारत एक्सप्रेस का निर्माण किया था. इसे 18 महीने में तैयार किया गया था. इस ट्रेन को ‘मेक इन इंडिया’ प्रोजेक्ट के तहत तैयार किया गया था.