कलेक्टर शिखा राजपूत तिवारी ने बैठक लेकर जिले में खरीफ फसल की बुआई एवं खाद बीज के भण्डारण एवं उठाव की जानकारी ली। सहायक संचालक कृषि ने बताया कि जिले में 95 प्रतिशत बुआई हो चुकी है। शेष 5 प्रतिशत रोपा का कार्य बाकी है। पर्याप्त वर्षा होने पर रोपाई के कार्य में तेजी
आने की संभावना है। कलेक्टर ने पशुपालन विभाग से पशुओं के टीकाकरण व और इसका प्रतिशत बढ़ाने के निर्देश दिए। उन्होंने महिला बाल विकास से कुपोषण दूर करने, कार्यपालन अभियंता पीएचई से हैंडपंपो के क्लोरीनेशन, खाद्य अधिकारी से राशनकार्ड नवीनीकरण की ऑनलाइन एंट्री की जानकारी ली। बैठक के दौरान जिला स्तरीय जन समस्या निवारण शिविर के लंबित प्रकरणों की जानकारी ली। साथ ही मुख्यमंत्री, राज्य सचिवालय, जन शिकायत निवारण कार्यालय से मिले प्रकरणों की समीक्षा की और उनके निराकरण समय सीमा मे करने के निर्देश दिए। बैठक में जिला पंचायत के सीईओ प्रकाश सर्वे, एसडीएम डीएन कश्यप, डीआर डाहिरे, दुर्गेश कुमार वर्मा साजा, उमाशंकर साहू, जिला पंचायत परियोजना अधिकारी बीआर मोरे मौजूद थे।
किसान की मृत्यु होने पर नामांकित व्यक्ति के नाम से कर सकेंगे धान खरीदी: पटवारी से सत्यापित सूची को समिति प्रबंधक एवं कम्प्यूटर आपरेटर धान खरीदी साफ्टवेयर में अपलोड करेंगे। जिसके बाद पटवारी समिति प्रबंधक समिति के कम्प्यूटर आपरेटर के हस्ताक्षर से अंतिम सूची का प्रकाशन होगा। विधिक व्यक्तियों तथा ट्रस्ट मण्डल, प्राइवेट लिमिटेड कम्पनी, शाला विकास समिति, केन्द्र एवं राज्य शासन के संस्थान महाविद्यालय, संस्थाओं की ओर संस्था की भूमि को धान बोने के प्रायोजन के लिए यदि अन्य किसानों को लीज या अन्य माध्यम से प्रदान किया गया है। तो संस्था की कुल धारित भूमि के अधीन वास्तविक खेती करने वाले किसान, लीज धारक का पंजीयन किया जाएगा एवं समर्थन मूल्य की राशि किसानों को भुगतान किया जाएगा। उन्होंने कहा कि समर्थन मूल्य में धान उपार्जन में कृषि भूमि सीलिंग कानून के प्रावधानों का ध्यान रखा जाए। धान विक्रय से पूर्व पंजीकृत किसान की मृत्यु हो जाने पर तहसीलदार के द्वारा परिवार के नामांकित व्यक्ति के नाम से धान खरीदी की जा सकेगी। खाद्य अधिकारी सीपी दीपांकर, जिला सहकारी केन्द्रीय बैंक नोडल अधिकारी आरके वारे, सहायक नोडल अधिकारी अरविंद वर्मा, शंशांक िशंदे मौजूद थे।
समर्थन मूल्य पर धान खरीदी के लिए पंजीयन 16 अगस्त से
खरीफ विपणन वर्ष 2019-20 में समर्थन मूल्य पर धान व मक्का के उपार्जन के लिए किसानों का पंजीयन 16 अगस्त से 31 अक्टूबर तक किया जाएगा। कलेक्टर ने बुधवार को जिला कार्यालय सभाकक्ष में राजस्व कृषि एवं समिति प्रबंधकों की बैठक ली। पिछले वर्ष 2018-19 में पंजीकृत किसानों को खरीफ विपणन वर्ष 2019-20 में भी पंजीकृत माना जाएगा। कलेक्टर ने कहा कि धान उपार्जन कार्य में अनियमितता एवं गड़बड़ी की शिकायत मिलने पर उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। साथ ही समिति प्रबंधक के खिलाफ एफआईआर दर्ज की जाएगी। खाद्य अधिकारी ने बताया कि पिछले वर्ष 2018-19 में पंजीकृत किसानों को खरीफ विपणन वर्ष 2019-20 में भी पंजीकृत माना जाएगा। पंजीकृत किसान किसी कारण से पंजीयन में संशोधन करवाना चाहते हैं। तो समिति मॉड्यूल के माध्यम से किया जाएगा। पिछले वर्ष 2018-19 मे जिन किसानों ने पंजीयन नही करवाया था। लेकिन इस वर्ष धान, मक्का बेचने के इच्छुक नए किसानों का पंजीयन तहसीलदार करेंगे।