- पत्रकारिता विश्वविद्यालय में पॉडकास्ट विषय पर विशेष व्याख्यान आयोजित
रायपुर। कुशाभाऊ ठाकरे पत्रकारिता एवं जनसंचार विश्वविद्यालय में “टॉक @ पॉडकास्ट” विषय पर विशेष व्याख्यान का आयोजन किया गया।
कार्यक्रम में मुख्य वक्ता के रूप में बोलते हुए वरिष्ठ पत्रकार डॉ. कीर्ति सिसोदिया ने कहा कि कहानी हमारे जीवन का अभिन्न हिस्सा है। हर व्यक्ति के पास कहने के लिए कोई न कोई कहानी होती है। पॉडकास्ट स्टोरीटेलिंग का ही एक रूप है, जो डिजिटल माध्यम से श्रोताओं तक पहुँचता है। उन्होंने कहा कि सोशल मीडिया भी एक तरह की स्टोरीटेलिंग है, जहाँ हम अपनी सोच और विचार साझा करते हैं। पॉडकास्ट के जरिए हम समाज में सकारात्मक मूल्यों की स्थापना कर सकते हैं और विचारों को व्यापक स्तर पर प्रसारित कर सकते हैं।
विशिष्ट वक्ता प्रो. मनीषा शर्मा, प्रोफेसर, इंदिरा गांधी राष्ट्रीय जनजातीय विश्वविद्यालय, अमरकंटक ने भारत में स्टोरीटेलिंग की परंपरा पर प्रकाश डालते हुए कहा कि हमारे देश में यह प्राचीन काल से चली आ रही है। भारतीय संस्कृति में कहानी सुनाने की परंपरा लोकगीतों, कथाओं और किस्सों के रूप में हमेशा मौजूद रही है। उन्होंने कहा कि वर्तमान समय में पॉडकास्ट एक प्रभावी संचार माध्यम के रूप में उभर रहा है, जो केवल मनोरंजन तक सीमित नहीं है, बल्कि इसमें सूचना, शिक्षा और संवाद की भी असीम संभावनाएँ हैं। आने वाले समय में यह एक प्रमुख करियर विकल्प बन सकता है।
कार्यक्रम के संयोजक डॉ. नरेंद्र त्रिपाठी ने कहा कि मीडिया के बदलते दौर में रोजगार की संभावनाएँ भी बढ़ रही हैं। डिजिटल प्लेटफॉर्म्स के बढ़ते उपयोग के कारण पॉडकास्टिंग एक उभरता हुआ क्षेत्र है, जिसमें युवाओं के लिए असीम संभावनाएँ हैं। उन्होंने कहा कि विद्यार्थियों को इस क्षेत्र में अपनी रुचि विकसित करना और नवाचार करना चाहिए।
प्रश्नोत्तर सत्र में विद्यार्थियों ने पॉडकास्ट की तकनीक, कंटेंट प्लानिंग और प्रसार से जुड़े सवाल पूछे। मुख्य वक्ता डॉ. सिसोदिया ने सवालों का उत्तर देते हुए पॉडकास्टिंग से जुड़े व्यावहारिक सुझाव भी दिए।
कार्यक्रम में जनसंचार विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. राजेंद्र मोहंती, समाजकार्य विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ. नृपेंद्र शर्मा, अतिथि शिक्षक और विद्यार्थी उपस्थित रहे।