- कांग्रेस के प्रोटेस्ट से तृणमूल-समाजवादी ने बनाई दूरी, अडाणी-संभल मुद्दे पर विपक्ष का वॉकआउट
नई दिल्ली। संसद के शीतकालीन सत्र का मंगलवार को छठवां दिन है। सदन शुरू होने से पहले विपक्षी दूहष्ठव ब्लॉक के नेताओं ने अडाणी और उत्तर प्रदेश के संभल में हुई हिंसा को लेकर सरकार के खिलाफ प्रदर्शन किया प्रदर्शन में लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी, कांग्रेस सांसद प्रियंका गांधी वाड्रा शामिल हुए। सपा और जस्ट नहीं आए।
विपक्ष के प्रदर्शन के दौरान केंद्रीय संसदीय कार्यमंत्री किरेन रिजिजू ने कहा, %देश को चलाने के लिए संसद चलना बहुत जरूरी है। संसद की कार्यवाही अगर ठीक से नहीं होगी तो उसका सबसे ज्यादा नुकसान देश और विपक्ष के सांसदों को होता है। हम बिना चर्चा के भी बिल पास कर सकते हैं, क्योंकि हमारे पास बहुमत है। हालांकि ऐसा करना हमें ठीक नहीं लगता है।
रिजिजू ने कहा- अगर किसी दूसरे देश में किसी भारतीय के खिलाफ कोर्ट में कोई आदेश आता है तो क्या सदन में उसकी चर्चा हमेशा जारी रहेगी? विपक्ष के कई सांसद इस बात को महसूस कर रहे हैं कि सदन को बाधित करना न ती देश हित में है और न ही विपक्ष के हित में है। हम 13 और 14 तारीख को लोकसभा में और 16 व 17 तारीख को राज्यसभा में संविधान पर चर्चा करेंगे।
लोकसभा स्पीकर ओम बिरला के साथ पक्ष और विपक्ष के फ्लोर लीडर्स की सोमवार को मीटिंग हुई। इसमें तय हुआ कि लोकसभा और राज्यसभा दोनों सदनों को ठीक से चलाया जाएगा। विपक्ष के नेताओं ने कुछ मांगे रखी जिसे मान लिया गया है। हालांकि आज जब लोकसभा और राज्यसभा 11 बजे शुरू हुई तो एक बार फिर विपक्ष ने हंगामा शुरू कर दिया।
केंद्रीय मंत्री किरेन रिजिजू ने कहा, नुकसान होना ये ठीक नहीं है। सबने इस सदन नहीं चलना और जनता के पैसों का बात को माना है। 13 और 14 तारीख को संविधान पर लोकसभा में चर्चा करेंगे और 16-17 को राज्यसभा में चर्चा होगी। कल हम सदनों में पहला बिल पास करेंगे 1% विपक्ष ने मंगलवार को लोकसभा से बहिर्गमन किया।