रायपुर। रायपुर निवासी श्री दिनेश-श्रीमती ज्योति जैन (काला) के सुपुत्र रम्यक जैन (काला) एवं भिलाई निवासी श्री मनीष -श्रीमती संध्या जैन (पाटनी) कि सुपुत्री नीर जैन (पाटनी) दोनों ही बच्चों ने अल्प उम्र में जैन समुदाय के सर्वोच्च आस्था के केंद्र तीर्थराज श्री सम्मेद शिखर जी की 27 कि.मी.के पहाड़ की वंदना पैदल पूर्ण की, ज्ञात हुआ कि दोनों ही बच्चों ने वंदना के पूर्व तीर्थराज की तलहटी मैं विराजमान आचार्य विमल सागर जी गुरुदेव के मंदिर में आचार्य श्री की प्रतिमा के समक्ष श्री-फल चढ़ाकर एवम तीर्थ पर विराजमान मुनि श्री सुयश सागर जी महाराज से आशीर्वाद प्राप्त कर इतने विशाल पहाड़ की वंदना पैदल पूर्ण कर पाए, दोनों बच्चो में यह बताया कि उन्होंने आचार्य विमल सागर जी महाराज की प्रतिमा के दर्शन कर यह मनोकामना मांगी थी की हमारी यात्रा निर्विघ्न सम्पन्न हो और हम सभी की यात्रा सानंद सम्पन्न हुई, दोनों ही बच्चे यात्रा पूर्ण कर इतने उत्साहित थे की यात्रा में सहारे की लिए जो डंडे को लेकर गये थे वह अपने साथ घर लेकर आये उनका कहना है कि वे यह छड़ी हमेशा अपने साथ रखेंगे यह जीवन भर उनके लिए यादगार बनकर रहेगी, शिखर जी से लौटने के बाद आज फाफाडीह जैन मंदिर में रम्यक को शांतिधारा करने का सौभाग्य प्राप्त हुआ |