बड़ौत – आचार्य श्री विशुद्ध सागर जी महाराज के पावन सानिध्य में दिगंबर जैन समाज बड़ौत ने जैन धर्म के 23वें तीर्थंकर भगवान पारसनाथ का निर्वांण महोत्सव नगर के सभी जैन मंदिरो मे हर्षोल्लास के साथ मनाया और पारसनाथ भगवान को निर्वान लाडू समर्पित किया । बड़ौत दिगंबर जैन समाज समिति के तत्वावधान और चिंतामणि पारसनाथ अखंड कीर्तन मंडल के सौजन्य से, आचार्य श्री विशुद्ध सागर महाराज ससंघ के सानिध्य मे सुबह 7 बजे श्री दिगंबर जैन छोटा मन्दिर जी घट्टा बाजार बड़ौत मे जैन श्रधालुओ ने भक्ति भाव से पारसनाथ भगवान की पूजन की और भगवान को निर्वान लाडू समर्पित किया।इस अवसर पर चिन्तामणि पारस अखंड कीर्तन मंडल की ओर से मधुर भजन भी प्रस्तुत किए गए । आचार्य श्री विशुद्ध सागर जी महाराज ने सभी भक्तजनो को अपना आशीर्वाद दिया और कहा कि सभी को देव शास्त्र गुरु की आराधना करनी चाहिए। भगवान की भक्ति की भव सागर से पार उतारती है। आचार्य श्री ने कहा कि आज चंद्रयान 3 के चंद्रमा पर उतरने का समय है।सभी देशवासियों और इसरो के वैज्ञानिको को इसकी सफलता के लिए बहुत बहुत आशीर्वाद ।
कार्यक्रम मे प्रवीण जैन, अतुल जैन,सुनील जैन,मनोज जैन, श्रेयांस जैन, संदीप जैन कली वाले, वरदान जैन,आदिश जैन, प्रवीण जैन, सतीश जैन, संजीव जैन, संदीप टिकरी वाले आदि उपस्थित थे । घोर तपस्वी मुनि श्री अनुत्तर सागर जी महाराज ने आज 1 सप्ताह बाद आहार ग्रहण किया। उन्हें आहार कराने का सौभाग्य वैभव जैन सर्राफ परिवार को प्राप्त हुआ ।ज्ञात हो की आचार्य श्री विशुद्ध सागर जी महाराज के शिष्य मूनिश्री अनुत्तर सागर जी महाराज घोर तपस्या कर रहे हैं। जिसमें वह 5 महीने के चातुर्मास कल में केवल 27 दिन आहार ग्रहण करेंगे। पूरे वर्ष में उनका लक्ष्य 256 दिन से अधिक उपवास करने का है। 16 अगस्त के बाद आज 23 अगस्त को मुनि श्री का पारना हुआ। आज के बाद 31 अगस्त को मुनि अनुत्तर सागर जी महाराज आहार लेंगे ।