भारतीय मूल की शीरिषा बांदला आज अंतरिक्ष का सफर तय करेंगी. वह कल्पना चावला और सुनीता विलियम्स के बाद अंतरिक्ष में जाने वाली भारतीय मूल की तीसरी महिला होंगी.
अंतरिक्षयान बनाने वाली दिग्गज कंपनी के आज निर्धारित पहले पूर्ण चालक दल युक्त उड़ान परीक्षण का हिस्सा बनने वाली एरोनॉटिकल इंजीनियर, 34 वर्षीय शीरिषा बांदला अंतरिक्ष जाने वाली भारतीय मूल की तीसरी महिला होंगी.
आंध्र प्रदेश के गुंटूर जिले में जन्मीं और टेक्सास के ह्यूस्टन में पली-बढ़ीं बांदला, कंपनी के अरबपति संस्थापक सर रिचर्ड ब्रेनसन और वर्जिन गैलेक्टिक के अंतरिक्षयान टू ‘यूनिटी’ में सवार होने वाले पांच अन्य सदस्यों के साथ न्यू मेक्सिको से अंतरिक्ष के सिरे तक का सफर करेंगी. उन्होंने ट्वीट किया, “मैं यूनिटी 22 के अद्भुत क्रू का हिस्सा और एक ऐसी कंपनी का हिस्सा बनने के लिए बेहद सम्मानित महसूस कर रही हूं, जिसका मिशन अंतरिक्ष को सभी के लिए उपलब्ध कराना है.”
अंतरिक्ष में जाने वाली भारतीय मूल की तीसरी महिला होंगी बांदला
वर्जिन गैलेक्टिक पर बांदला के प्रोफाइल के मुताबिक, वह अंतरिक्ष यात्री संख्या 004 होंगी और उड़ान के दौरान उनकी भूमिका ‘रिसर्चर एक्सपीरियंस’ की होगी. वह कल्पना चावला और सुनीता विलियम्स के बाद अंतरिक्ष में जाने वाली भारतीय मूल की तीसरी महिला होंगी. उन्होंने वर्जिन गैलेक्टिक के ट्विटर अकाउंट पर छह जुलाई को पोस्ट किए गए वीडियो में कहा, “मैंने जब पहली बार सुना कि मुझे यह मौका मिल रहा है तो मैं नि:शब्द हो गई थी. यह अद्भुत अवसर है जब अंतरिक्ष में विभिन्न पृष्ठभूमि, स्थान और अलग-अलग समुदाय के लोग होंगे.”
परड्यू यूनिवर्सिटी ने दी ये जानकारी
गैलेक्टिक की वेबसाइट पर एक बयान के मुताबिक परड्यू यूनिवर्सिटी की छात्रा रहीं, बांदला, यूनिवर्सिटी ऑफ फ्लोरिडा से एक प्रयोग का इस्तेमाल कर मानव-प्रवृत्त अनुसंधान अनुभव का मूल्यांकन करेंगी जिसमें हाथ में पकड़े जाने वाले ट्यूबों को उड़ान के दौरान विभिन्न मौकों पर सक्रिय किया जाएगा. यूनिवर्सिटी ने एक बयान में बताया कि बांदला ने जनवरी 2021 में वर्जिन गैलेक्टिक में सरकारी मामलों और अनुसंधान कार्यों के उपाध्यक्ष के रूप में अपनी पारी शुरू की थी.